सुमनेश जोशी पुरस्कार
1 | श्री संजीव भानावत | आचार्य हजारीप्रसाद द्विवेदी के उपन्यासों में सांस्कृतिक बोध | 1982-83 |
2 | श्री जीवन महता | कविता मेरे लिये | 1983-84 |
3 | श्री सत्यनारायण बीजावत | आंधी के दीप | 1984-85 |
4 | डॉ. प्रभा वाजपेयी | शब्द नदी है | 1985-86 |
5 | श्री गोविन्द माथुर | शेष होते हुए | 1986-87 |
6 | श्री माधव नागदा | उसका दर्द | 1987-88 |
7 | श्री सवाईसिंह शेखावत | घर के भीतर घर | 1988-89 |
8 | डॉ. विभा सक्सेना | अपने ही चारों ओर | 1989-90 |
9 | डॉ. उषा माहेश्वरी | सुबह की धूप | 1990-91 |
10 | श्री गोकुल गोस्वामी | सलीब पर लटकी जिंदगी | 1991-92 |
11 | श्री अरविन्द ओझा | उजालों के तालाब | 1992-93 |
12 | श्री सागर जैन | प्रारब्ध | 1994-95 |
13 | श्री सुशील पुरोहित | जैसी कि अब वही | 1995-96 |
14 | श्री कैलाश कबीर | तुम्हारे आने पर | 1996-97 |
15 | डॉ. इन्दु शेखर तत्पुरुष | खिली धूप में बारिश | 1997-98 |
16 | श्री प्रदीप भट्ट | बिवाई में टंगी दूरियां | 1998-99 |
17 | सुश्री लतामणि | सांझ का सूर्योदय | 1999-2000 |
18 | श्री कुंजन आचार्य | एक टुकड़ा आसमान | 2000-01 |
19 | श्री नवनीत पाण्डे | सच के आसपास | 2000-01 |
20 | श्रीमती शांति राजपाल | आओ सेतु बांधें | 2001-02 |
21 | श्री चांद शेरी | जर्द पत्ते हरे हो गए | 2002-03 |
22 | श्रीमती गीता भट्टाचार्या | प्रतिदिन | 2006-07 |
23 | श्रीमती मीनाक्षी आहुजा | रेत पर बने पद चिह्न | 2007-08 |
24 | श्री राघवेन्द्र | अंजुरी भर रेत | 2008-09 |
25 | श्री ओम नागर | देखना, एक दिन | 2010-11 |
26 | श्री बनज कुमार ‘बनज’ | फैली फैली धूप है | 2011-12 |
27 | श्रीमती शारदा शर्मा | वैदेही | 2012-13 |